tag:blogger.com,1999:blog-9115561631155571591.post5467606548736430067..comments2024-03-27T06:40:09.006+01:00Comments on जो न कह सके: मैं हिना हूँSunil Deepakhttp://www.blogger.com/profile/05781674474022699458noreply@blogger.comBlogger10125tag:blogger.com,1999:blog-9115561631155571591.post-54324850802939436402007-06-29T07:43:41.017+02:002007-06-29T07:43:41.017+02:00हीना अपनी सभ्यता से दूर हो गई थी! तो उसे सजा देने ...हीना अपनी सभ्यता से दूर हो गई थी! तो उसे सजा देने वालों की क्या यही सभ्यता है, उनकी मानो या मरो.<br><br>धार्मिक दबावो के आगे न झुक कर ही सभ्य दुनिया को बचाया जा सकता है.संजय बेंगाणीwww.tarakash.com/joglikhinoreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-9115561631155571591.post-7056057096350925292007-06-29T11:52:58.171+02:002007-06-29T11:52:58.171+02:00इससे पहले बहुत बार विभिन्न धार्मिक प्रतिबँधियों ने...<i>इससे पहले बहुत बार विभिन्न धार्मिक प्रतिबँधियों ने विभिन्न शहरों के प्रशासनों से माँग की हैं कि उन्हें अपने धर्म का पालन करने की और अपनी सभ्यता के अनुसार रहने की पूरी स्वतंत्रता चाहिये, जैसे कि मुसलमान औरतों को बुर्का पहनने की स्वतंत्रता हो, सिख पुरुषों को पगड़ी पहनने की, इत्यादि.</i><br><br>मैं समझता हूँ कि इस बात में और और आपके द्वारा यहाँ बताई गई घटना में अंतर है। अपने धर्म के अनुसार जीने की स्वतंत्रता होनी चाहिए, लेकिन जबरदस्ती नहीं होनी चाहिए। यदि कोई सिख पगड़ी बांधना चाहता है तो उसको पगड़ी की स्वतंत्रता मिलनी चाहिए लेकिन उसको जबरन पगड़ी बांधने के लिए विवश नहीं किया जाना चाहिए। यदि वह अपने बाल पोनी टेल के रूप में रखना चाहता है या सिर ही मुंडवाना चाहता है तो उसको व्यक्तिगत निर्णय लेने की स्वतंत्रता होनी चाहिए।Amithttp://www.amitgupta.in/noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-9115561631155571591.post-39555355588932023872007-06-29T11:52:58.170+02:002007-06-29T11:52:58.170+02:00धार्मिक स्वतंत्रता होनी चाहिए लेकिन इसके नाम पर कि...धार्मिक स्वतंत्रता होनी चाहिए लेकिन इसके नाम पर किसी को मार डालने की तो नहीं।<br><br>बुर्का पहनने की आजादी हो लेकिन यह भी न हो कि इसकी आड़ में कोई महिलाओं को जबरदस्ती पहनने को बाध्य करे।ePandithttp://www.blogger.com/profile/15264688244278112743noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-9115561631155571591.post-51489163393956903652007-06-29T12:12:40.950+02:002007-06-29T12:12:40.950+02:00प्रदर्शन करने वाली युवतियों का कहना है कि धार्मिक ...प्रदर्शन करने वाली युवतियों का कहना है कि धार्मिक स्वतंत्रता के नाम पर "पिछड़ेपन" को नहीं स्वीकारना चाहिये सिर्फ इसलिए कि तथाकथित धार्मिक नेता इसकी माँग कर रहे हैं. जैसे कि उनका कहना है कि अगर विद्यालय में कुछ नियम हों तो सबके लिए होने चाहिये और कुछ गुटों को यह धार्मिक स्वतंत्रता के नाम पर यह छूट नहीं मिलनी चाहिये कि उनके धर्म की कन्याएँ बुर्के के साथ कक्षा में आयें या लड़को के साथ न बैठे. वह कहतीं हैं उनके जैसी बहुत सी लड़कियाँ न चाहते हुए भी घर में इस तरह के आदेशों से लड़ नहीं पाती, सबमें खुल कर विद्रोह करने की हिम्मत नहीं होती, जबकि प्रशासन उनके अधिकारों की बात सोचने की जगह पर धार्मिक नेताओं की बात मानने में अधिक सजग होते हैं.<br><br>पर दिक्कत यह है कि अन्य बहुत सी युवतियाँ हैं जो अपने धार्मिक नेताओं की बात से सहमत हैं और चाहती हैं कि उनके लिए विषेश धार्मिक नियम हों, तो प्रशासन नहीं समझ पाते कि किसकी बात मानी जाये.Sunil Deepakhttp://www.blogger.com/profile/05781674474022699458noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-9115561631155571591.post-39031226180823302722007-06-29T12:44:17.121+02:002007-06-29T12:44:17.121+02:00कैसे कोई पिता अपनी ही बेटी को सिर्फ इसलिये मार देत...कैसे कोई पिता अपनी ही बेटी को सिर्फ इसलिये मार देता है क्यूंकि वो अपनी जिंदगी अपनी तरह से जीना चाहती थी। मजहब के नाम पर इतनी बड़ी सजा ।mamtahttp://www.blogger.com/profile/05350694731690138562noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-9115561631155571591.post-66708973678376546352007-06-29T13:56:45.674+02:002007-06-29T13:56:45.674+02:00"हिना" थी वह "ही ना"? इसीलिए, ..."हिना" थी वह "ही ना"? इसीलिए, अमर हो गई।हरिरामhttp://www.blogger.com/profile/12475263434352801173noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-9115561631155571591.post-35789400652700885842007-06-29T15:49:38.758+02:002007-06-29T15:49:38.758+02:00अफ़सोस!!समझ में नही आता कि आखिर धर्म के नाम पर यह ब...अफ़सोस!!<br>समझ में नही आता कि आखिर धर्म के नाम पर यह बंदिशे क्यों और कब तक लादी जाती रहेंगी!!Sanjeet Tripathihttp://www.blogger.com/profile/18362995980060168287noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-9115561631155571591.post-1952893435585853952007-06-29T17:40:16.615+02:002007-06-29T17:40:16.615+02:00गलत बात, शर्मनाक-यह तो कोई धर्म नहीं कहता.गलत बात, शर्मनाक-यह तो कोई धर्म नहीं कहता.Udan Tashtarihttp://www.blogger.com/profile/06057252073193171933noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-9115561631155571591.post-57089972182257372502007-06-29T19:41:35.895+02:002007-06-29T19:41:35.895+02:00अफ़सोस!अफ़सोस!अनूप शुक्लhttp://www.blogger.com/profile/07001026538357885879noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-9115561631155571591.post-7418853822864478712007-06-30T11:05:28.859+02:002007-06-30T11:05:28.859+02:00पुरापाषाणकालीन मृत धर्म जितनी जल्दी इस दुनिया से व...पुरापाषाणकालीन मृत धर्म जितनी जल्दी इस दुनिया से विदा हो जाएँ, उतना ही अच्छा है।Pratik Pandeyhttp://www.blogger.com/profile/02460951237076464140noreply@blogger.com