tag:blogger.com,1999:blog-9115561631155571591.post6639887761293625255..comments2024-03-27T06:40:09.006+01:00Comments on जो न कह सके: अंत का प्रारम्भSunil Deepakhttp://www.blogger.com/profile/05781674474022699458noreply@blogger.comBlogger4125tag:blogger.com,1999:blog-9115561631155571591.post-77654335494919038802011-06-18T11:02:06.449+02:002011-06-18T11:02:06.449+02:00आप सब को टिप्पणियों के लिए धन्यवाद.
प्रवीण, शायद ...आप सब को टिप्पणियों के लिए धन्यवाद.<br /><br />प्रवीण, शायद भारतीय या एशियाई सोच विचार में मर्यादा का बहुत ऊँचा स्थान है, लेकिन यहाँ लगता है कि लोग नेताओं के व्यक्तिगत जीवन के आचरण पर उतना ध्यान नहीं देते. पर क्या बात खुल कर आती या पर्दों के पीछे छुपी रहती है, इसको छोड़ दें तो शायद पैसा खाने, रिश्तोदारों और मित्रों को फायदा पहुँचाने और भ्रष्टाचार आदि में दुनिया के बहुत से राजनीतिक नेता मिलते जुलते हैं.<br /><br />सदन, सत्ता में आने के लिए माफ़िया का क्या हिस्सा है, यह नहीं कह सकता, पर होगा अवश्य. यहाँ कई बार बरलुस्कोनी के माफ़िया गुटों से सम्बंधों की बात उठायी गयी है पर बात अफ़वाहों की अधिक लगती है, तथ्यों की कम.Sunil Deepakhttps://www.blogger.com/profile/05781674474022699458noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-9115561631155571591.post-17609303654320107462011-06-18T10:24:39.329+02:002011-06-18T10:24:39.329+02:00बहुत सरल और जानकारी भरा लेख। इटली के बारे में बहुत...बहुत सरल और जानकारी भरा लेख। इटली के बारे में बहुत काम जानता था। रुबी और प्रधानमंत्री के स्केंडल की खबर तो तेजी से फैली लेकिन बरलुस्कोनी के बारे में कुछ नही पता था। इटली के माफिया जिसकी राजनीति में खासी दखलंदाजी हुआ करती थी उसके क्या रुख हैं?Sadan Jhahttps://www.blogger.com/profile/03549280438683116103noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-9115561631155571591.post-55169799494034127152011-06-17T16:05:56.643+02:002011-06-17T16:05:56.643+02:00कुछ तो मर्यादा हो राजनीति में।कुछ तो मर्यादा हो राजनीति में।प्रवीण पाण्डेयhttps://www.blogger.com/profile/10471375466909386690noreply@blogger.comtag:blogger.com,1999:blog-9115561631155571591.post-12691646335059484702011-06-17T07:26:30.503+02:002011-06-17T07:26:30.503+02:00मजा आया पढ़ कर. मजा इस लिए नहीं कि सेक्स वेक्स की ब...मजा आया पढ़ कर. मजा इस लिए नहीं कि सेक्स वेक्स की बाते थी. दरअसल वहाँ कि वास्तविक स्थिति पर वहाँ रहने वाला ही लिख सकता है और वह भी हिन्दी में पढ़ना बहुत अच्छा लगा. निष्पक्ष पत्रकारी अहंकार से मुक्त... अच्छा लेख.संजय बेंगाणीhttps://www.blogger.com/profile/07302297507492945366noreply@blogger.com